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Friday 17 June 2016

ऐसे रचायें मेंहदी


1. मेंहदी खरीदते समय यह अवश्य ध्यान रखें कि मेंहदी बहुत पुरानी न हो। 4 महीने से पुरानी मेंहदी न खरीदें।

2. मेंहदी का पैकेट कटा-फटा न हो। हवा लग जाने पर भी मेंहदी की तासीर में अन्तर आ जाता है।

3. पैकेट खोलकर जो मेंहदी प्रयोग में लाने के बाद बच जाये उसे एयरटाइट डिब्बे में रखें।

4. किसी पुरानी जार्जेट की साड़ी या दुपट्टे में मेंहदी तीन बार अवश्य छानें। हर बार छान कर जो भी कपड़े में बच जाए उसे फेंक दें।

5. मेंहदी घोलते समय ध्यान रखें कि नींबू का रस व चाय की पत्ती छलनी से छनी हो, अन्यथा लगाते समय नींबू की फांकें या पत्ती कोन में आकर मेंहदी का तार तोड़ देगी।

6. मेंहदी लगाने से पूर्व हाथों को अच्छी तरह दो-तीन बार साबुन से धोयें। उसके पश्चात् 2 चम्मच नींबू का रस व एक छोटा चम्मच दानेदार चीनी हथेली पर लेकर तब तक रगड़ें, जब तक चीनी अच्छी तरह घुल न जाये। हाथों को अच्छी तरह धो लें।

7. एक रुई के टुकड़े में मेंहदी का तेल लगाकर हाथों में आगेपीछे जहां-जहां मेंहदी लगानी हो अच्छी तरह लगायें।

8. मेंहदी का घोल लगाते समय प्लास्टिक को अच्छी तरह धो कर कपड़े से पोछ लें। कोन का छेद जहां तक हो सके बहुत छोटा रखें। बाद में इच्छानुसार कैंची से काट दें।

9. कोन को हमेशा टेप से चिपकाएं। बहुत अधिक ढूंस-ठूस कर कोन न भरें, नहीं तो वहां दबाने पर मेहंदी ऊपर से निकलने लगेगी।

10. मेंहदी अधिक गाढ़ी न हो कि दबाने पर मुश्किल से निकले और न इतनी पतली कि जरा-सा दबाने पर फैलने लगे।

11. मेहंदी को प्लास्टिक के डोंगे में डालें तथा थोड़ा-थोड़ा करके पानी डालती जायें तथा चम्मच या हाथ से खूब फेंटें। जितनी कभी भी पानी में मेंहदी न डालें।

12. मेंहदी घोल कर कोन में भर दें तथा 2 घंटे पश्चात लगायें । घोली हुई मेंहदी खुली न छोड़ें वरना उस पर पपड़ी जम जायेगी।

13. मेंहदी हमेशा कलाई की ओर से शुरू करके, अंगुलियों तक लगायें। बची हुई मेंहदी अंगुलियों के पोर पर लगायें।

14. लगाने के पश्चात जैसे ही मेंहदी सूखने लगे एक कटोरी में नींबू का रस व चीनी का घोल बनाकर सूई की सहायता से धीरेधीरे लगायें, रगड़ें नहीं, वरना मेहंदी छूटने लगेगी।

15. 3-4 घंटे बाद अच्छी तरह सूखने पर मेंहदी को बटर नाइफ से खुरच कर छुड़ा दें। 5-6 घंटे तक पानी से हाथ भूल कर भी न धोयें।

16. किसी-किसी के हाथ में मेहंदी बहुत हल्की रचती है। ऐसे में हाथों को धोकर अच्छी तरह पोंछ लें तथा थोड़ा-सा अमृतांजन या विक्स लेकर अच्छी तरह हथेलियों पर रगड़ें तब मेहंदी लगायें।

17. जिस उत्सव के लिए मेंहदी लगवा रही हों, उससे कम-से-कम एक दिन पहले मेंहदी लगवायें। क्योंकि मेहंदी का रंग 24 घंटे बाद गहरा होता है।

18. मेंहदी लगाकर हीटर के पास या धूप में न बैठे वरना मेंहदी रचने से पहले ही सूख जायेगी।

19. दुल्हन को मेंहदी लगाते समय मेनीक्योर व पेडीक्योर पहले कराएं तब मेंहदी लगाएं।

मेंहदी ऐसे तैयार करें

पहली विधि

सामग्री : 1 प्याला मेंहदी, 2 भिंडी, 1/2 नींबू का रस, 1 चम्मच चीनी, 1 छोटा चम्मच मिट्टी का तेल या पेट्रोल, अचार का तेल ।

विधि : भिंडी को अच्छी तरह मसल कर 1/2 कप पानी में भिगो दें। पानी छान कर उसमें चीनी व नींबू मिलायें। अब इसे अच्छी तरह घोल कर छान लें। मेंहदी प्लास्टिक के बोल में डालें और थोड़ा-थोड़ा पानी डाल कर हाथों से घोलती जायें। मिट्टी का तेल डाल कर फेंटें।

मेहंदी कोन में भर कर लगायें। लग जाने पर एक रुई के टुकड़े को मेंहदी के घोल में भिगोयें तथा रची हुई मेंहदी पर धीरे-धीरे लगायें। सूखने पर मेंहदी खुरच कर उतार दें। रची हुई मेंहंदी पर अचार का तेल लगायें।

दूसरी विधि

सामग्री : 1 कप मेंहदी, 1 नींबू के बराबर इमली, 1 छोटा चम्मच चीनी, 1 छोटा चम्मच चाय पत्ती, 1 चम्मच चूना, 1/2 कप पानी में मिलाकर।

विधि : इमली भिगोकर मसल लें। चाय की पत्ती थोड़े पानी में डालकर उबाल लें। इमली तथा चाय के पानी को छान लें। पीतल की थाली में मेंहदी तथा चीनी डालें। छने पानी की सहायता से हथेली से तब तक फेंटे, जब तक चीनी घुल न जाये कोन में भरकर लगायें सूखने पर चूने के पानी से हाथ धो दें।

तीसरी विधि

सामग्री : 1 कप मेंहदी, 1 छोटा चम्मच कॉफी, 1 छोटा चम्मच कत्था, 1 छोटा चम्मच चाय की पत्ती, 7-8 लौंग ।

विधि : मेंहदी व लौंग को छोड़कर बाकी चीजें %-1 कप पानी में पकायें। छान कर ठंडा करें और मेंहदी में थोड़ा-थोड़ा डालकर घोलें। कोन में भर कर लगायें तथा सूख जाने पर खुरच कर उतार दें। तवा गर्म करके उस पर पिसी हुई लौंग डालें, धुआं उठने पर हाथ अच्छी तरह सेंक लें।

यह मेंहदी केवल एक दो दिन ही रहती है, बड़ी जल्दी फीकी पड़ जाती है। अत: सगाई, ईद या तीज़ के अवसर पर, जिसमें एक ही दिन के लिए मेंहदी का महत्व हो, रचायें।

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